Tuesday, September 23, 2008

युवी निकले अब गांधीगीरी करने


अगर आप सोचते हैं कि देश के क्रिकेटर जीवन की सभी सुविधाओं का उपभोग करने में ही लगे रहते हैं, तो आप गलत हैं। डीएलएफ सिटी के पास अवैध रूप से फेंके जा रहे कूड़े-कचरे के खिलाफ लोगों द्वारा आयोजित विरोध प्रदर्शन में भारतीय क्रिकेट टीम के सितारे युवराज सिंह ने भाग लिया।

गौरतलब है कि युवी डीएलएफ सिटी के एफ ब्लॉक में रहते हैं। गुड़गांव-फरीदाबाद मार्ग पर फेंके जा रहे कूड़े-कचरे के खिलाफ यहां के निवासी लंबे समय से विरोध कर रहे थे। युवी के इस मुहिम में शामिल होने से लोगों का उत्साह बढ़ा है। इससे पहले भी इस तरह का प्रदर्शन अगस्त महीने में आयोजित किया गया था।

325 टन कचरा प्रतिदिन :

गुड़गांव म्युनिसिपल कॉरपोरेशन, हरियाणा अर्बन डेवलपमेंट एथॉरिटी और कई निजी डेवलपर्स की ओर से इस स्थान पर प्रतिदिन लगभग 325 टन कूड़ा (100 ट्रक) फेंका जाता है। यह सिलसिला पिछले दो वर्षे से जारी है।

प्रशासन को देना चाहिए ध्यान :

डीएलएफ सिटी की सफाई अभियान से जुड़े युवराज सिंह ने कहा कि यहां रहने वाली बड़ी आबादी की मांग पर प्रशासन को ध्यान देना चाहिए। युवी ने अवैध रूप से कूड़ा-करकट फेंकने की कार्रवाई पर तुरंत रोक लगाने की भी मांग की।

बढ़ेगा खेल के प्रति रुझान :

युवराज ने उम्मीद जाहिर की है कि सड़कों और शहर के साफ-सुथरे होने पर युवाओं का खेलों के प्रति रुझान बढ़ेगा तथा जागिंग और साइकिलिंग को बढ़ावा मिलेगा।

60 एकड़ में फैला है कूड़ा :

डीएलएफ सिटी के पॉश फेज -1 इलाके के पास ही वन विभाग की संरक्षित जमीन पर लगभग 60 एकड़ में चारों तरफ कूड़ा कचरा फैला हुआ है।

डेंगू और सांस की बीमारियां :

स्थानीय निवासियों के अनुसार गंदगी की वजह से यहां डेंगू और सांस संबंधी बीमारियां बढ़ रही हैं। इस बीच हुडा प्रशासन ने लोगों की शिकायतों पर ध्यान देने का आश्वासन दिया है। हुडा इस समस्या से निपटने को एक हाईटेक कूड़ा-कचरा प्रबंधन तकनीक को अगले वर्ष शुरू करने पर विचार कर रही है
मेरा विचार
१। हम सभी को अपने घर के अन्दर और बाहर सफाई रखनी चाहिए
२। विचार १ पुरुषों के लिए भी है :D ।
३। अच्छी सफाई व्यवस्था से आपको स्वास्थ्य लाभ होगा
४। आपके और पडोस के सभी आयु वर्ग के चिंटू और मिंटू भी स्वस्थ रहेगें ।
५। आप नई - नई कूड़ा-कचरा प्रबंधन तकनीक के बारें में सोचिये ।
६। आप समान विचार धारा वाले लोगों का समूह बनाइये और योजना को अंजाम दीजिए
७। जगह - जगह फलदार, फूलदार और छाया वाले पेड़ पौधे लगाइए
८। आपके पास अगर फोटो कैमरा है तो सुंदर बाग़ बगीचों के फोटो खीच कर उनका अध्ययन कीजिए कि ऐसी हरियाली आप अपने घर के पास कैसे ला सकतें हैं
९। आप अपने शहर के जिला अधिकारी से भी सरकारी हरित योज़नाओं की जानकारी लें ।
१०। आजकल सरकार के पास इन योज़नाओ का काफी फंड होता है जो अंत में खर्च न होने के कारन उनको अपने जेब में डालना पड़ता है ;) मज़बूरी में ।

1 comment:

Udan Tashtari said...

प्रभावी एवं विचारणीय आलेख!!